हिमाचल प्रदेश ब्यूरो रिपोर्ट। राज्य मुख्यालय तक पहुंची रिपोर्ट के अनुसार कुल्लू जिले में तीन बादल फटने की घटनाएं हुईं,जबकि मंडी और शिमला जिलों में एक-एक बादल फटा।उन्होंने कहा कि दो शव बरामद किए गए हैं, जबकि 50 से अधिक लोग अभी भी लापता हैं। उन्होंने कहा कि बादल फटने और भारी बारिश के कारण पिछले 12 घंटों के दौरान पांच सड़कें, एक राष्ट्रीय राजमार्ग भी अवरुद्ध हो गया और तीन पुल क्षतिग्रस्त हो गए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि सबसे अधिक प्रभावित शिमला जिले के झाकड़ी का समेज क्षेत्र रहा, जहां बादल फटने से आवासीय क्षेत्र भी प्रभावित हुआ है और करीब 36 लोग लापता हैं, जबकि एक सड़क भी अवरुद्ध हो गई है।मंडी जिले में पधर तहसील के टिक्कन थलुकोट गांव के पास बादल फटने की घटना हुई, जहां करीब सात लोग लापता बताए गए हैं और दो शव बरामद किए गए हैं, जबकि तीन मकान भी क्षतिग्रस्त हुए हैं।
उन्होंने कहा कि कुल्लू जिले में निरमंड तहसील के जौन गांव में बादल फटने से सात लोग लापता हो गए तथा नौ घर बह गए, जबकि दो पुलों को भी नुकसान पहुंचा है। बादल फटने की घटनाएं ऊपरी क्षेत्रों में भी हुई, जिसके परिणामस्वरूप पिन पार्वती नदी में जल स्तर बढ़ गया तथा एक बस बह गई। कुल्लू जिले के मलाणा उप-तहसील जरी में एक अन्य घटना हुई, जिससे मलाणा पुल क्षतिग्रस्त हो गया तथा मलाणा के निकट ब्यास नदी में नौ लोग फंस गए। मुख्यमंत्री ने कहा कि इन लोगों को बचाने के प्रयास जारी हैं। ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि इस समय बहुमूल्य मानव जीवन को बचाना सर्वोच्च प्राथमिकता है तथा सभी सरकारी मशीनरी इस कार्य पर ध्यान केंद्रित करेगी। उन्होंने जिला प्रशासन को प्रभावित परिवारों को तत्काल राहत प्रदान करने तथा बेली ब्रिज बनाने के निर्देश दिए, ताकि प्रभावित क्षेत्रों में लोगों को किसी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार पुलिस को प्रभावित क्षेत्रों में परिवहन गतिविधियों को चलाने में सक्षम बनाने के लिए पांच परिवहन ड्रोन भी उपलब्ध कराएगी। एसडीएम स्तर पर सैटेलाइट फोन भी उपलब्ध कराए जा रहे हैं, ताकि संचार प्रणाली को सुदृढ़ किया जा सके। उन्होंने कहा कि पुलिस थानों और पुलिस चौकियों को बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए 50 जनरेटर भी उपलब्ध कराए जाएंगे। राज्य सरकार लोगों की जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास करेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मौसम विभाग ने शुक्रवार सुबह तक भारी बारिश का पूर्वानुमान लगाया है। उन्होंने लोगों से इन घंटों के दौरान एहतियाती उपाय अपनाने और नदियों के पास जाने से बचने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि राज्य आपदा प्रतिवादन बल को किसी भी प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए मजबूत और सुसज्जित किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आपदा निगरानी के लिए राज्य में 13 स्थानों पर राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र भी स्थापित किए गए हैं और ये चौबीसों घंटे चालू रहेंगे।
उन्होंने इस आपदा में कई निर्दोष लोगों की मौत पर गहरा दुख व्यक्त किया और कहा कि राज्य सरकार इस संकट की घड़ी में शोक संतप्त और प्रभावित परिवारों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है।
ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी, केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा, राष्ट्रीय कांग्रेस अध्यक्ष मलिकार्जुन खड़गे और वरिष्ठ कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी से भी फोन पर बात की और राज्य में बादल फटने और भारी बारिश से उत्पन्न स्थिति से अवगत कराया।उन्होंने केंद्र सरकार से इस भयावह स्थिति से निपटने के लिए उदार सहायता प्रदान करने का आग्रह किया। बैठक में राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी, मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना, अतिरिक्त मुख्य सचिव ओंकार चंद शर्मा, मुख्यमंत्री के सचिव राकेश कंवर, पुलिस महानिदेशक डॉ. अतुल वर्मा, विशेष सचिव राजस्व डीसी राणा और प्रमुख अभियंता लोक निर्माण एनपी सिंह भी शामिल हुए।