भारत में सोने की कीमतों में हाल ही में बड़ी गिरावट देखने को मिली है। घरेलू सर्राफा बाजार में 10 ग्राम 24 कैरेट गोल्ड की कीमतों में 10 दिनों में ही 10000 रुपये से ज्यादा की गिरावट देखने को मिली है। भारत में गिरते सोने के भाव के बीच पड़ोसी देश पाकिस्तान में सोने का भाव आसमान की ओर बढ़ रहा है। आइए जानते हैं कि दोनों देशों में एक तोला गोल्ड का भाव क्या चल रहा है।
भारत में स्थिर आर्थिक स्थिति और नियंत्रित इन्फ्लेशन की वजह से सोने की कीमतों में नरमी आई है। हालिया कीमतों के मुताबिक 24 कैरेट सोने की कीमत लगभग 1,20,419 रुपए प्रति 10 ग्राम हो चुकी है। अब क्योंकि एक तोला लगभग 11.66 ग्राम के बराबर होता है तो इसलिए 24 कैरेट सोने के एक तोले की कीमत 1,39,839.68 रुपए होगी। वहीं अगर 22 कैरेट सोने की बात करें तो उसकी कीमतें ₹1,10,300 प्रति 10 ग्राम है।
पाकिस्तान में सोने की कीमतें
पाकिस्तान में भी सोने की कीमतों में गिरावट देखने को मिली है। लेकिन इसके बावजूद भी वहां सोने की कीमत ऐसी हैं कि जिसमें भारत में एक गाड़ी तक आ जाए। पाकिस्तान में 24 कैरेट सोने के एक तोले की कीमत लगभग 4,20,500 पाकिस्तानी रुपए है। इसी के साथ वहां 10 ग्राम सोने की कीमत 3,60,520 पाकिस्तानी रुपए है।
पाकिस्तान में क्यों इतना महंगा है सोना?
इसके पीछे की वजह काफी साफ है और वह है पाकिस्तान की आर्थिक अस्थिरता। अमेरिका डॉलर के मुकाबले पाकिस्तान रुपए में भारी गिरावट आई है। जिस वजह से सोने की कीमत इतनी ज्यादा है। अब क्योंकि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सोने की कीमत डॉलर में तय होती है इस वजह से कमजोर रुपए से घरेलू लागत में सीधे तौर पर वृद्धि देखने को मिलती है।
पाकिस्तान में अधिक महंगाई
इसी के साथ ज्यादा महंगाई एक दूसरा बड़ा कारण है। जैसे-जैसे जरूरी चीजों की कीमत बढ़ती है लोग सुरक्षित निवेश के रूप में सोने की तरफ ध्यान लगाते हैं। इससे मांग और भी ज्यादा बढ़ जाती है। इसके अलावा पाकिस्तान के भू राजनीतिक तनाव वित्तीय अनिश्चित में एक बड़ा योगदान देते हैं। इस वजह से निवेशक मुद्रा या फिर शेयर के बजाय सोने में अपनी संपत्ति को सुरक्षित रखने के लिए प्रेरित होते हैं।
भारत में पाकिस्तान की तुलना में स्थिर मौद्रिक नीतियां, मजबूत मुद्रा स्थिति और इन्फ्लेशन पर काफी बेहतर नियंत्रण है और इसका एक बड़ा लाभ मिलता है। वहीं पाकिस्तान आर्थिक मंदी, सीमित विदेशी मुद्रा भंडार, बढ़ते आयात बिल और जीवन यापन की उच्च लागत जैसी परेशानियों से जूझ रहा है। यही वजह है कि ये परिस्थितियों घरेलू सोने की कीमत को बढ़ाती हैं और जिस वजह से दोनों देशों के बीच मूल्य अंतर बढ़ता जा रहा है।





